इंदौर। मध्यप्रदेश के इंदौर में अतिक्रमण हटाने पहुंचे तहसीलदार और पटवारी पर दनादन गोलियां चलाई गईं हैं। घटना का एक वीडियो भी सामने आया है जिसमें दनादन गोलियां चलती दिख रही हैं और अधिकारी जान बचाकर भागते हुए नजर आ रहे हैं। घटना से हड़कंप मच गया है, घटना बाणगंगा थाना इलाके की है जहां अरबिंदो अस्पताल के पीछे की जमीन पर अतिक्रमण हटाने के लिए अधिकारी पहुंचे थे।
घटना इंदौर के बाणगंगा थाना इलाके की है जहां अरविंदो अस्पताल के पीछे की जमीन से अवैध कब्जा हटाने के लि तहसीलदार और पटवारी टीम के साथ पहुंचे थे। अधिकारी कार्रवाई कर पाते इससे पहले ही खेत पर तैनातद सिक्योरिटी गार्ड ने बंदूक उठा ली और अंधाधुंध फायरिंग करना शुरू कर दी। गार्ड ने 25-30 फायर किए हैं। वहीं फायरिंग होता देख तहसीलदार व पटवारी सहित टीम के सदस्य जान बचाकर भाग ने पर मजबूर हो गए।
बताया गया है कि एसडीएम के निर्देश पर तहसीलदार व पटवारी जमीन से कब्जा हटाने के लिए पहुंचे थे। ये जमीन अरविंदो अस्पताल और सुरेश पटेल परिवार के बीच विवादित है। घटना के वक्त मौके पर दो सिक्योरिटी गार्ड मौजूद थे, जिनमें से एक को पुलिस ने हिरासत में ले लिया है, जबकि दूसरे की तलाश की जा रही है। बता दें कि इंदौर विशेष न्यायालय ने 2023 में अरविंदो अस्पताल के पक्ष में जमीन को लेकर फैसला सुनाया था। इस जमीन पर पटेल परिवार के 10 लोगों का कब्जा था। 9 लोगों ने अपने-अपने कब्जे हटा लिए थे, लेकिन सुरेश पटेल का वहां पर एक मकान बना हुआ था। जिसके अंदर 4 से 5 गार्ड रह रहे थे। कलेक्टर के आदेश पर जमीन का कब्जा हटाने के लिए तहसीलदार पटवारी मौके पर पहुंचे थे। जिन पर मौजूद गार्ड ने फायर कर दिया।
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स्वाधीनता दिवस पर MP में 177 कैदियों को मिलेगी रिहाई
भोपाल। स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर मध्यप्रदेश की जेलों में आजीवन कारावास की सजा काट रहे 177 कैदियों को रिहा कर दिया जाएगा। इन बंदियों में 05 महिलाएं भी शामिल हैं। इन बंदियों को मध्यप्रदेश शासन, जेल विभाग की रिहाई नीति-2022 के अंतर्गत सजा में छूट प्रदान की जा रही है। हालांकि रिहा होने वाले बंदियों में बलात्कार, पोक्सो आदि के प्रकरण में दंडित कोई कैदी शामिल नहीं है।
जेल विभाग ने बताया कि इन बंदियों को जेल में सजा काटने के दौरान टेलरिंग, कारपेन्ट्री, लौहारी, भवन मिस्त्री, भवन सामग्री निर्माण आदि का प्रशिक्षण प्रदान किया गया है, ताकि रिहा होने के पश्चात ये जीवकोपार्जन के साधन अर्जित कर सकें। गौरतलब है कि सरकार हर साल 15 अगस्त को कुछेक कैदियों को उनके अच्छे आचरण और अन्य मापदंडों के आधार पर रिहा करती है।
जेल विभाग द्वारा जारी सूची के मुताबिक 15 अगस्त को सतना जेल से सर्वाधिक 24 कैदी रिहा किए जाएंगे। वहीं जबलपुर के केंद्रीय कारागार से 20 कैदियों को रिहाई मिलेगी। इसके अलावा सागर व उज्जैन की जेल से 19-19, इंदौर जेल से 18, ग्वालियर जेल से 16, भोपाल व नरसिंहपुर की जेल से 15-15, रीवा जेल से 14, बड़वानी जेल से 07, नर्मदापुरम जेल से 06 और टीकमगढ़ जेल से 04 कैदी रिहा किए जाएंगे।
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घूसखोर महिला रजिस्ट्री अधिकारी गिरफ्तार: EOW ने रंगे हाथों दबोचा
विदिशा। मध्य प्रदेश में भ्रष्टाचार के मामले थमने का नाम नहीं ले रहे हैं। आए दिन सरकारी अधिकारी कर्मचारी रिश्वत लेते पकड़े जा रहे हैं। ताजा मामला विदिशा जिले से सामने आया है। जहां पंजीयक कार्यालय में महिला रिजस्ट्री (उप पंजीयक) अधिकारी को घूस लेते रंगें हाथों गिरफ्तार किया गया है। एडवोकेट की शिकायत पर ईओडब्ल्यू ने यह कार्रवाई की है।
विदिशा के वकील राकेश मीणा ने रिश्वत मांगे जाने की शिकायत ईओडब्ल्यू से की थी। इसके बाद आज बुधवार को EOW ने जाल बिछाया और उप पंजीयक अधिकारी प्रतिभा कुमरे को रंगे हाथों रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया गया। कार्रवाई देर शाम तक जारी रही। बताया गया कि कार्यालय में कई वकील अपने पार्टियों की रजिस्ट्री करने के लिए पहुंचे हैं। कुछ दिन पहले राकेश मीणा एक पार्टी को लेकर रजिस्ट्री करने के लिए गए थे। जहां उनसे 10000 रुपए की रिश्वत मांगी गई थी।
वहीं जब उन्होंने इस बात की जानकारी पार्टी को दी, तो पार्टी का कहना था कि उप पंजीयक के नाम पर वकील ही अतिरिक्त राशि ले रहे हैं। इसी से दुखी और परेशान होकर एडवोकेट राकेश मीणा ने इसकी शिकायत ईओडब्ल्यू से की। जैसे ही प्रतिभा ने राशि अपने हाथ में ली, ईओडब्ल्यू ने उन्हें पकड़ लिया। हालांकि 10 हजार की पूरी राशि न होने पाने के कारण कुछ कम राशि दी जा रही थी।
शिकायतकर्ता एडवोकेट राकेश मीणा का कहना है कि यहां बिना रिश्वत के कोई भी काम नहीं होता। बदनाम सिर्फ वकील होते हैं। इसे खत्म करने के लिए उन्होंने यह पहल की है। हालांकि इस मामले में EOW की ओर से कोई बयान नहीं आया है। फिलहाल आरोपी उप पंजीयक प्रतिभा कुमरे के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धाराओं के तहत मामला दर्ज कर आगे की कार्रवाई की जा रही है।