This website uses cookies to ensure you get the best experience on our website.

संसद परिसर से हटाई गईं महात्मा गांधी, शिवाजी और अंबेडकर की प्रतिमाएं, कांग्रेस ने जताई आपत्ति…

User Rating: 5 / 5

Star ActiveStar ActiveStar ActiveStar ActiveStar Active
 

नई दिल्ली। संसद परिसर में महात्मा गांधी, बीआर अंबेडकर और छत्रपति शिवाजी समेत अन्य की प्रतिमाओं को उनके मूल स्थान से हटाकर पुराने भवन के पास एक लॉन में ले जाया गया है. इसके साथ ही आदिवासी नेता बिरसा मुंडा और महाराणा प्रताप की प्रतिमाओं समेत सभी प्रतिमाएं अब पुराने संसद भवन और संसद पुस्तकालय के बीच लॉन पर स्थापित है. कांग्रेस ने इस कदम की तीखी आलोचना की।
इस घटनाक्रम पर प्रतिक्रिया देते हुए कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने एक्स पर कहा, “छत्रपति शिवाजी महाराज, महात्मा गांधी और डॉ. बाबासाहेब अंबेडकर की प्रतिमाओं को संसद भवन के सामने उनके प्रमुख स्थानों से हटा दिया गया है. यह नृशंस है.”
भाजपा पर हमला करते हुए कांग्रेस के मीडिया और प्रचार विभाग के प्रमुख पवन खेड़ा ने कहा कि जब महाराष्ट्र के मतदाताओं ने भाजपा को वोट नहीं दिया, तो शिवाजी और अंबेडकर की प्रतिमाओं को संसद में उनके मूल स्थान से हटा दिया गया.
उन्होंने कहा कि जब गुजरात में उन्हें क्लीन स्वीप नहीं मिला तो उन्होंने संसद में महात्मा गांधी की प्रतिमा को उसके मूल स्थान से हटा दिया. उन्होंने एक्स पर हिंदी में एक पोस्ट में कहा.”ज़रा सोचिए, अगर उन्हें 400 सीटें दी गई होतीं, तो क्या वे संविधान को बख्श देते?”
18वीं लोकसभा के जून में अपने पहले सत्र के लिए बुलाए जाने पर संसद परिसर एक नए रूप में दिखाई देगा क्योंकि चार अलग-अलग इमारतों वाले पूरे परिसर को एकीकृत करने का काम चल रहा है. बाहरी क्षेत्रों के पुनर्विकास के हिस्से के रूप में, गांधी, शिवाजी और महात्मा ज्योतिबा फुले सहित राष्ट्रीय प्रतीकों की मूर्तियों को पुराने संसद भवन के गेट नंबर 5 के पास एक लॉन में ले जाया जाना था, जिसे संविधान सदन नाम दिया गया है.
इससे गज द्वार के सामने एक विशाल लॉन के निर्माण का मार्ग प्रशस्त होगा, जिसका उपयोग राष्ट्रपति और प्रधान मंत्री नए संसद भवन में प्रवेश करने के लिए करते हैं. लॉन का उपयोग आधिकारिक समारोहों जैसे कि राष्ट्रपति द्वारा संसद की संयुक्त बैठक में संबोधन, आमतौर पर बजट सत्र के दौरान भी किया जा सकता है.
-------------------------------
मौसम विभाग की चेतावनी, इन राज्यों में इतने दिनों तक होगी भारी बारिश
नई दिल्ली। महाराष्ट्र में गर्मी की वजह से लोगों का बुराहाल हो रखा है, लेकिन मौसम विभाग के अनुसार जल्द ही सूरज की तपिश से राहत मिल जाएगी। दरअसल, मौसम विभाग ने बताया कि 5 दिनों के दौरान महाराष्ट्र, तटीय और उत्तरी कर्नाटक और राजस्थान के कुछ इलाकों में बहुत भारी बारिश होगी। उत्तर-पश्चिम भारत में दो दिनों तक बारिश और तेज हवाओं का दौर रहेगा।
जयपुर मौसम विभाग के निदेशक राधेश्याम शर्मा ने कहा कि अगले 48 घंटों में पश्चिमी राजस्थान के जोधपुर, बीकानेर, अजमेर, जयपुर और भरतपुर के कुछ इलाकों में हल्की बारिश और ओलावृष्टि होगी। पूर्वी राजस्थान के इलाकों में आंधी और धूल भरी आंधी दर्ज की जाएगी।
राधेश्याम शर्मा ने कहा कि 9 जून को उत्तरी राजस्थान के कुछ इलाकों में आंधी-तूफान की आशंका है। ज्यादातर इलाकों में अधिकतम तापमान 43 डिग्री सेल्सियस से कम दर्ज किया जाएगा। अगले 4-5 दिनों में लू चलने की कोई संभावना नहीं है।
उत्तर प्रदेश के अलग-अलग हिस्सों में लू से गंभीर लू चलने की संभावना है। जम्मू संभाग, हिमाचल प्रदेश, पंजाब, हरियाणा-चंडीगढ़-दिल्ली, पूर्वी मध्य प्रदेश, गंगीय पश्चिम बंगाल के अलग-अलग हिस्सों में लू चलने की संभावना है।
--------------------------------
नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु से की मुलाकात, 9 जून को होगा भव्य शपथ समारोह
नई दिल्ली। लोकसभा चुनाव में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन जीत के बाद सरकार बनाने की प्रक्रिया को शुरू कर दिया है। पीएम मोदी ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु से मुलाकात कर सरकार बनाने का दावा पेश किया है। उन्होंने राष्ट्रपति को एनडीए समर्थित सभी सांसदों की लिस्ट दी है।
संसद के सेंट्रल हॉल में सभी एनडीए के नवनिर्वाचित सांसदों की बैठक हुई। इस बैठक में सर्वसम्मति से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को फिर से संसदीय दल का नेता चुना गया। पीएम मोदी को 2014, 2019 और अब 2024 में तीसरी बार लगातार संसदीय दल का नेता चुना गया है।
मनोनीत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि 10 साल के इस कार्यकाल में भारत दुनिया के लिए विश्वबंधु बनकर उभरा है। इसका सबसे ज्यादा फायदा अब मिलना शुरू हो रहा है। मुझे यकीन है कि अगले 5 साल बहुत काम आने वाले हैं। दुनिया अनेक संकटों, अनेक तनावों, आपदाओं से गुजर रही है। हम भारतीय भाग्यशाली हैं कि इतने बड़े संकटों के बावजूद भी हम आज दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्था के रूप में जाने जाते हैं। भारत की विकास के लिए दुनिया में प्रशंसा हो रही है।